What is a good resting Heart rate -2025?

What is a good resting heart rate

Resting Heart Rate (RHR) की परिभाषा:

Resting Heart Rate (आरएचआर) वह दर (rate) है जिस पर आपका दिल एक मिनट में तब धड़कता है जब आप पूरी तरह से आराम की स्थिति में होते हैं — यानी जब आप शांत, तनावमुक्त और बिना किसी शारीरिक गतिविधि के होते हैं। यह आमतौर पर सुबह उठने के बाद, बिस्तर से उठने से पहले मापा जाता है।

👉 एक सामान्य वयस्क की आराम करने की हृदय गति (RHR) लगभग 60 से 100 बीट प्रति मिनट (bpm) के बीच होती है।
👉 एथलीट्स या फिट लोगों में RHR और भी कम (40–60 bpm) हो सकता है, क्योंकि उनका हृदय अधिक कुशलता से कार्य करता है।

क्यों महत्वपूर्ण है RHR?

Table of Contents

  • यह आपके हृदय स्वास्थ्य और फिटनेस लेवल का संकेतक है।
  • RHR में बदलाव तनाव, नींद की कमी, बीमारी या अत्यधिक कैफीन सेवन का संकेत हो सकता है।
  • लगातार हाई RHR होने पर दिल की बीमारी या हाई ब्लड प्रेशर का खतरा हो सकता है।

उदाहरण:
अगर आपकी RHR 75 bpm है, इसका मतलब है कि आपके दिल की धड़कन आराम की स्थिति में हर मिनट 75 बार हो रही है।

नोट: RHR को नियमित रूप से ट्रैक करना आपके संपूर्ण स्वास्थ्य को समझने में मदद कर सकता है।

आराम्भिक धडकन की चालु गति (Resting Heart Rate) क्या है?

Resting Heart Rate (RHR) बोलता है कि जब आप आराम्भिक रूप से आराम जीवन की की घण्टियां शांत और अशांत हैं, तो उस समय में आपके हृदय की धड़कन गति को Resting Heart Rate कहा जाता है।

यह आञार करता है कि आपका हृदय कितनी ज़रूरत से कार कर �930हा है जब आप शांत, और शारीरिक तौर पर हैं।


📊 Normal Resting Heart Rate (RHR) क्या होनी चाहिए?

एक स्थानारण में 60 से 100 धड़कन/मिनट (beats per minute – bpm) की बीच घाटी जाती है।

Category wise Ideal RHR:

क्षेणRHR (bpm)
Athletes40-60 bpm
Healthy Adults60-80 bpm
Sedentary80-100 bpm
की चिंता टाच्कीकार्डिया (अवस्था जो 100 के ओपर हो)डॉक्टर को दिखाएं

क्यों जानें RHR important है?

  • यह आपके कार्य क्षम (कार्डियवैस्कुलर) की स्थिति की जांच करता है।
  • पांच जीवन की कीमी क्योग्यता की संभावना का प्रमाण करता है
  • जिनकी RHR कम होती है, उनका हृदय ऐछी और ज्यादा शक्ति कार्य कार्यक्षम की योग्य्यता काफी और लाभ का जोखम और जोखिम चन्द का खतरा होता है।

कौन कौन की RHR चालु गति अलग?

उम्रऔसत धडकन (बीपीएम)
नवजात जन्म70-100 bpm
युवाओं60-100 bpm
वयासक60-90 bpm
ज्योक60-80 bpm
खेल व्यक्ति50-70 bpm

📈 Factors that Affect Resting Heart Rate:

  1. एक्सरसाइज / Fitness level – जो लोग ट्रेनड हैं, उनकी RHR कम और औच्छी होती है।
  2. एज / Age – जैसे-जैसे उम्र ब्ढ़ता जाता है, वैसे-वैसे RHR बढ़ सकती है।
  3. चित / Body temperature – ज्यो ज्यादा होती है, ओतनी ज्यादा और RHR बी बढ़ सकती है।
  4. चिंता / Emotions – चिंताओं जैसे चिंता, चिंता, घुस्सा आदि का असर है, उन की वजह से RHR ज्यादा बढ़ जाती है।
  5. दवाई / Medications – कछ दवाईयां की वजह से औ कछ की कम कार देटी हैं, जिससे RHR पर भी अथव कोई प्रभाव पड़ता है।
  6. चिकित्सा / Health Conditions – घाल, thyroid, heart conditions, fever, anemia जैसी स्थितियां और बीमारी स्वास्थ्य के चलन भी RHR को प्रभावित करती हैं।

🩺 Measuring Resting Heart Rate (RHR) Accurately – RHR को सही तरीके से कैसे मापें

Resting Heart Rate यानी RHR को मापने का सबसे अच्छा समय सुबह उठते ही होता है, जब शरीर पूरी तरह से आराम की अवस्था में होता है। इसे आप बिना किसी डिवाइस के भी माप सकते हैं। बस अपनी कलाई या गर्दन पर दो उंगलियाँ रखें और 60 सेकंड तक धड़कनों की गिनती करें।
यदि आप स्मार्टवॉच या फिटनेस ट्रैकर का उपयोग करते हैं (जैसे Apple Watch, Mi Band, Fitbit आदि), तो ये उपकरण भी RHR को लगातार ट्रैक कर सकते हैं। ध्यान रखें कि RHR को मापने से पहले आपको कम-से-कम 10 मिनट तक शांत और स्थिर स्थिति में बैठना या लेटना चाहिए।

Pro Tip:
– धड़कन मापने के लिए कलाई (radial artery) सबसे सही जगह मानी जाती है।
– कैफीन, तनाव, हाल की कसरत या नींद की कमी RHR को प्रभावित कर सकती है।


🧘 Tips to Improve Resting Heart Rate – RHR को सुधारने के आसान उपाय

  1. नियमित व्यायाम करें:
    Aerobic exercises जैसे तेज चलना, साइक्लिंग, तैराकी आपके दिल की ताकत बढ़ाते हैं जिससे RHR धीरे-धीरे कम होता है।
  2. तनाव कम करें:
    Deep breathing, योग, ध्यान, और adequate sleep दिल पर दबाव कम करते हैं जिससे RHR सामान्य होता है।
  3. धूम्रपान और शराब से दूरी बनाएं:
    ये दोनों ही हृदय गति को तेज करने के लिए जाने जाते हैं।
  4. हाइड्रेटेड रहें:
    पानी की सही मात्रा शरीर के सभी systems को smooth तरीके से चलाने में मदद करती है।
  5. कैफीन की मात्रा सीमित करें:
    Excessive caffeine आपके हार्ट रेट को अस्थायी रूप से बढ़ा सकता है।

Reminder: Lifestyle में सुधार धीरे-धीरे असर दिखाता है। धैर्य रखें और consistency बनाएं।


🚨 When RHR is Dangerously High or Low – कब RHR खतरे का संकेत होता है?

Low RHR (< 40 bpm) – यदि आप athlete नहीं हैं और आपकी RHR 40 से कम है तो यह bradycardia का संकेत हो सकता है। इसके कारण चक्कर आना, थकान, या fainting जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
High RHR (> 100 bpm) – इसे tachycardia कहा जाता है। यह चिंता, dehydration, हार्मोनल असंतुलन, या हृदय रोगों का संकेत हो सकता है।

📌 सीरियस लक्षण:

तेज़ सांसें (Rapid Breathing) क्या होती हैं?

तेज़ सांसें लेना, जिसे मेडिकल भाषा में Tachypnea (टैकीप्निया) कहा जाता है, एक ऐसी स्थिति है जिसमें व्यक्ति सामान्य से तेज गति से सांस लेता है, यानी हर मिनट में सांसों की संख्या अधिक हो जाती है।

👉 सामान्य वयस्क की सांस लेने की दर लगभग 12 से 20 सांस प्रति मिनट होती है।
👉 जब यह दर इससे अधिक हो जाती है, तो उसे तेज़ सांस लेना माना जाता है।


📌 तेज़ सांसें क्यों होती हैं? (Causes of Rapid Breathing)

  1. घबराहट या पैनिक अटैक (Panic Attack)
    • अचानक डर या चिंता के कारण शरीर की प्रतिक्रिया होती है।
    • सांसें तेज़ और उथली हो जाती हैं।
  2. दिल की समस्याएं (Heart Problems)
    • जैसे हार्ट अटैक, जिसमें शरीर को ऑक्सीजन की ज्यादा ज़रूरत होती है।
  3. फेफड़ों की बीमारियाँ (Lung Issues)
    • अस्थमा, निमोनिया, या क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज (COPD) के कारण।
  4. बुखार या संक्रमण (Fever or Infection)
    • शरीर का तापमान बढ़ने पर मेटाबॉलिज्म तेज़ होता है और सांसें भी तेज़ चलने लगती हैं।
  5. थकावट या अत्यधिक व्यायाम (Overexertion)
    • भागने या ज़ोरदार एक्सरसाइज़ के बाद।

⚠️ लक्षण जिनके साथ तेज़ सांसें आ सकती हैं:

  • छाती में दर्द या जकड़न
  • चक्कर आना
  • कमजोरी या बेहोशी जैसा महसूस होना
  • घबराहट या बेचैनी
  • होंठ या नाखून नीले पड़ना (ऑक्सीजन की कमी)

🩺 कब डॉक्टर से मिलना चाहिए?

यदि तेज़ सांसें:

  • बिना किसी exertion (शारीरिक मेहनत) के हो रही हैं
  • लंबे समय तक बनी रहती हैं
  • छाती दर्द, पसीना, या बेहोशी के साथ हो रही हैं

तो यह आपात स्थिति हो सकती है। तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।


💡 ध्यान देने योग्य बात

तेज़ सांसें हमेशा डरने वाली बात नहीं होतीं। कभी-कभी ये सिर्फ शरीर का अस्थायी प्रतिक्रिया तंत्र होती हैं, जैसे भागने, डरने या उत्तेजना के समय। लेकिन अगर ये बिना कारण हो रही हैं, या बार-बार होती हैं, तो इनका मेडिकल मूल्यांकन जरूरी है

सीने में दर्द (Chest Pain) क्या होता है?
सीने में दर्द एक आम लेकिन गंभीर लक्षण हो सकता है, जो शरीर के कई हिस्सों से जुड़ी समस्याओं का संकेत हो सकता है। यह दर्द हल्का, तीव्र, जलन जैसा या दबाव की तरह महसूस हो सकता है। कभी-कभी यह हार्ट अटैक (Heart Attack) का संकेत भी हो सकता है, इसलिए इसे हल्के में नहीं लेना चाहिए।


🔍 सीने में दर्द के प्रकार:

  1. दिल से जुड़ा दर्द (Cardiac Chest Pain):
    • दबाव या जकड़न जैसा महसूस होता है।
    • बाएं हाथ, जबड़े, गर्दन या पीठ तक फैल सकता है।
    • साथ में पसीना, उल्टी, थकावट हो सकती है।
    • आमतौर पर हार्ट अटैक या एंजाइना की स्थिति में होता है।
  2. गैस्ट्रिक या पेट की समस्या से जुड़ा दर्द:
    • जलन या खट्टी डकार के साथ हो सकता है।
    • खाना खाने के बाद ज़्यादा होता है।
    • एसीडिटी, गैस या एसिड रिफ्लक्स इसका कारण हो सकता है।
  3. फेफड़ों से जुड़ा दर्द:
    • गहरी सांस लेने पर बढ़ता है।
    • खांसी, बुखार या सांस फूलने के साथ हो सकता है।
    • निमोनिया, फेफड़े में खून का थक्का (Pulmonary Embolism) आदि इसके कारण हो सकते हैं।
  4. मांसपेशियों या हड्डियों से जुड़ा दर्द:
    • छूने पर दर्द होता है या हिलाने पर बढ़ता है।
    • भारी सामान उठाने या खिंचाव की वजह से हो सकता है।

🩺 सीने में दर्द के लक्षण जिन पर तुरंत ध्यान दें:

यदि सीने में दर्द के साथ निम्न लक्षण हों, तो यह आपातकाल हो सकता है:

  • बाएं हाथ, गर्दन, जबड़े या पीठ में फैलता दर्द
  • अत्यधिक पसीना
  • सांस लेने में तकलीफ
  • मतली या उल्टी
  • चक्कर या बेहोशी
  • दिल की धड़कन का तेज़ होना

👉 ऐसी स्थिति में तुरंत अस्पताल जाएं।


🏥 सीने में दर्द का निदान कैसे होता है?

डॉक्टर निम्न जांच कर सकते हैं:

  • ECG (Electrocardiogram) – दिल की स्थिति देखने के लिए
  • ब्लड टेस्ट (Troponin level) – हार्ट अटैक की पुष्टि के लिए
  • X-ray या CT Scan – फेफड़े और हड्डियों की स्थिति जानने के लिए
  • Echo या TMT Test – हृदय के कार्य को समझने के लिए

🛡️ बचाव और रोकथाम के उपाय:

  • संतुलित आहार लें, जंक फूड से बचें
  • तनाव कम करें
  • नियमित व्यायाम करें
  • ब्लड प्रेशर, शुगर और कोलेस्ट्रॉल को कंट्रोल में रखें
  • धूम्रपान और शराब से दूर रहें
  • नियमित हेल्थ चेकअप कराएं

सीने में दर्द एक सावधानी के संकेत की तरह होता है। यह दिल, पेट, फेफड़े, हड्डी या मांसपेशी किसी भी अंग से जुड़ा हो सकता है। लेकिन अगर दर्द ज्यादा देर तक रहे या असहनीय हो, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें, क्योंकि इसमें जीवन की सुरक्षा भी शामिल हो सकती है।

अचानक कमजोरी या चक्कर आना (Sudden Weakness or Dizziness)

जब किसी व्यक्ति को अचानक कमजोरी महसूस होती है या चक्कर आने लगते हैं, तो यह शरीर में ऑक्सीजन की कमी या रक्त प्रवाह में रुकावट का संकेत हो सकता है। खासकर अगर ये लक्षण बिना किसी स्पष्ट कारण के अचानक शुरू हो जाएं, तो यह हृदय से जुड़ी किसी गंभीर समस्या, जैसे हार्ट अटैक, का संकेत भी हो सकता है।

हार्ट अटैक के दौरान, हृदय की मांसपेशियों को पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिलती, जिससे शरीर का संतुलन बिगड़ सकता है और व्यक्ति को चक्कर या बेहोशी जैसा महसूस हो सकता है। कई बार मरीज को ऐसा लगता है जैसे वह अपने शरीर का कंट्रोल खो रहा है। यह लक्षण पुरुषों और महिलाओं दोनों में देखा जा सकता है, लेकिन महिलाओं में हार्ट अटैक के समय यह एक प्रमुख लक्षण के रूप में उभर सकता है।

इस तरह की अचानक कमजोरी को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए, खासकर यदि इसके साथ-साथ सीने में दर्द, तेज़ पसीना, या सांस फूलने जैसी समस्याएं भी हो रही हों। ऐसे में तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना ज़रूरी है।

ध्यान रखें: चक्कर आना कई कारणों से हो सकता है, जैसे – लो ब्लड प्रेशर, डिहाइड्रेशन, या माइग्रेन, लेकिन अगर यह अचानक और तीव्र रूप में हो, तो यह एक मेडिकल इमरजेंसी भी हो सकती है। बेहतर यही है कि समय रहते जाँच करवा लें।

बेहोशी (Fainting or Loss of Consciousness)

What is a good resti
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बेहोशी या होश खो बैठना एक ऐसा लक्षण है जिसे कभी भी हल्के में नहीं लेना चाहिए, खासकर जब यह अचानक और बिना किसी स्पष्ट कारण के हो। यह शरीर में रक्त और ऑक्सीजन की आपूर्ति में कमी का संकेत हो सकता है, और विशेष रूप से हार्ट अटैक (Heart Attack) या अन्य हृदय संबंधी समस्याओं से जुड़ा हो सकता है।

बेहोशी हार्ट अटैक का संकेत क्यों हो सकती है?

जब हृदय पर्याप्त मात्रा में खून पंप नहीं कर पाता, तब मस्तिष्क तक ऑक्सीजन युक्त रक्त नहीं पहुँच पाता और व्यक्ति बेहोश हो सकता है। यह स्थिति अचानक होती है और इसके पहले अक्सर चक्कर आना, कमजोरी, या धुंधला दिखना जैसे संकेत मिलते हैं। कई मामलों में, मरीज को चेतना लौटने में कुछ सेकंड से लेकर कुछ मिनट तक का समय लग सकता है।

बेहोशी के साथ अन्य लक्षण जो हार्ट अटैक की ओर इशारा कर सकते हैं:

  • सीने में दबाव या दर्द
  • तेज़ या अनियमित दिल की धड़कन
  • अत्यधिक पसीना
  • सांस लेने में कठिनाई
  • चेहरे और होंठों का नीला पड़ना (cyanosis)
  • बाएं हाथ, गर्दन या जबड़े में दर्द

विशेषकर किन लोगों को अधिक सावधान रहना चाहिए?

  • जिन्हें पहले से दिल की बीमारी हो
  • हाई ब्लड प्रेशर या लो ब्लड प्रेशर के मरीज
  • बुज़ुर्ग व्यक्ति
  • जो लोग लंबे समय से धूम्रपान या शराब का सेवन कर रहे हैं
  • जिनके परिवार में दिल की बीमारी का इतिहास हो

क्या करें जब कोई बेहोश हो जाए?

  1. व्यक्ति को तुरंत सपाट जगह पर लिटाएं और पैरों को थोड़ा ऊपर करें।
  2. ताजे हवा की व्यवस्था करें।
  3. कसाव वाले कपड़े ढीले कर दें।
  4. होश में आने तक न छोड़े और लगातार मॉनिटर करते रहें।
  5. यदि व्यक्ति 1-2 मिनट में होश में नहीं आता है, या सांस नहीं ले रहा है, तो तुरंत एम्बुलेंस बुलाएं और CPR शुरू करें (यदि प्रशिक्षित हैं)।

बेहोशी को नजरअंदाज़ करना खतरनाक हो सकता है, विशेषकर यदि वह हृदय से संबंधित समस्या के कारण हुई हो। अगर किसी को बार-बार बेहोशी आती है या अन्य दिल से संबंधित लक्षणों के साथ आती है, तो तुरंत डॉक्टर से जांच कराना आवश्यक है। समय पर सही इलाज से जीवन बचाया जा सकता है।

👉 कब डॉक्टर से मिलें?
अगर आपकी resting heart rate बिना किसी स्पष्ट कारण के बार-बार बहुत कम या बहुत ज्यादा आ रही है, तो तुरंत मेडिकल सलाह लें।


🏃 Resting HR in Athletes vs General Population – खिलाड़ियों और आम लोगों में RHR का अंतर

Athletes – पेशेवर खिलाड़ी या जो लंबे समय से कार्डियो वर्कआउट कर रहे हैं, उनकी RHR आमतौर पर 40–50 bpm होती है। इसका मतलब यह है कि उनका दिल बेहद efficient है और कम धड़कनों में ज्यादा ब्लड पंप करता है।
General People – सामान्य लोगों में RHR आमतौर पर 60–100 bpm होती है। 70-75 bpm को एक अच्छा average माना जाता है।

👉 एक trained athlete का low heart rate जरूरी नहीं कि बीमारी का संकेत हो। लेकिन यदि non-athlete में बहुत कम या बहुत अधिक RHR दिखती है, तो ये किसी underlying health issue की ओर इशारा कर सकता है।


🧾 Summary – सारांश

Resting Heart Rate हमारे हृदय स्वास्थ्य का एक प्रमुख संकेतक है। एक स्वस्थ RHR लगभग 60–80 bpm के बीच होता है। यह जितना कम होता है (एक लिमिट तक), उतना ही हृदय efficient होता है।

मुख्य बिंदु:
✅ सुबह उठते ही RHR मापना सबसे सही होता है
✅ Active lifestyle, तनाव-मुक्त जीवनशैली और अच्छी नींद RHR सुधारते हैं
✅ Athletes में RHR सामान्य से कम होता है
✅ बार-बार high या low RHR आना खतरे की घंटी हो सकता है

👉 दिल को स्वस्थ रखना है तो अपने RHR को नज़रअंदाज न करें। हर हफ्ते इसे ट्रैक करें और lifestyle को बेहतर बनाएं।

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